
यह खबर अबू कताल नाम के आतंकवादी के बारे में है, जो लश्कर-ए-तैयबा का एक बड़ा कमांडर था और भारत में कई हमलों का मास्टरमाइंड था। उसे पाकिस्तान के पंजाब प्रांत के झेलम जिले में गोली मारकर हत्या कर दिया गया। यह हमला उस समय हुआ जब वह लश्कर सरगना हाफिज सईद के साथ था।
अबू कताल कौन था?
अबू कताल भारत के मोस्ट वांटेड आतंकियों में से एक था और मुंबई हमलों के मास्टरमाइंड हाफिज सईद का करीबी सहयोगी था। उसने जम्मू-कश्मीर में कई बड़े आतंकी हमलों को अंजाम दिया, जिनमें राजौरी और रियासी में हुए हमले शामिल थे।
लश्कर-ए-तैयबा में अबू कताल की भूमिका
हाफिज सईद ने अबू कताल को लश्कर का चीफ ऑपरेशनल कमांडर बना दिया था। उसके नेतृत्व में कई आतंकी हमले किए गए। वह आतंकियों की भर्ती, हमलों की योजना बनाने और सीमा पार से घुसपैठ कराने में माहिर था। इसीलिए वह हाफिज सईद का भरोसेमंद आदमी बन गया था।
राजौरी हमले में भूमिका
1 जनवरी 2023 को जम्मू-कश्मीर के राजौरी जिले के ढांगरी गांव में आतंकी हमला हुआ था। अगले दिन वहां आईईडी ब्लास्ट भी हुआ। इस हमले में सात लोगों की मौत हुई थी, जिनमें दो बच्चे भी शामिल थे। एनआईए ने इस हमले की जांच के बाद 26 फरवरी 2024 को लश्कर-ए-तैयबा के तीन आतंकियों को इसका मास्टरमाइंड बताया। इनमें अबू कताल, सैफुल्लाह उर्फ साजिद जट्ट और मोहम्मद कासिम के नाम सामने आए।
रियासी बस हमला
9 जून 2024 को जम्मू-कश्मीर के रियासी में तीर्थयात्रियों की एक बस पर आतंकियों ने हमला किया था। गोली लगने से बस का ड्राइवर नियंत्रण खो बैठा और बस खाई में गिर गई। इस हमले में 9 लोगों की जान चली गई थी। इसकी जिम्मेदारी ‘द रेजिस्टेंस फ्रंट’ (TRF) ने ली, जो लश्कर-ए-तैयबा और जैश-ए-मोहम्मद से जुड़ा हुआ संगठन है। इस हमले का मास्टरमाइंड भी अबू कताल था।
अन्य आतंकी हमलों में भूमिका
अबू कताल ने 2017 के रियासी बम हमले की साजिश रची थी, जिसमें कई निर्दोष लोगों की मौत हुई थी। इसके अलावा, अप्रैल 2023 में राजौरी-पुंछ के भाटिया दूरियान में सेना की गाड़ी पर हमले को भी उसी ने अंजाम दिया था।
अबू कताल का आतंक का नेटवर्क 2000 के दशक से सक्रिय था और वह पाकिस्तान के रावलपिंडी में बैठे लश्कर के बड़े कमांडर साजिद जट्ट को सीधे रिपोर्ट करता था। यही साजिद जट्ट राजौरी हमले में भी शामिल था।
अब उसकी मौत के बाद लश्कर-ए-तैयबा को बड़ा झटका लगा है।